New Delhi, 25 सितंबर . कथित बलात्कार मामले में गिरफ्तार ललित मोदी के भाई समीर मोदी को साकेत कोर्ट ने Thursday को बड़ी राहत दी है. अदालत ने बंद कमरे में हुई सुनवाई के बाद उन्हें जमानत दे दी.
समीर मोदी की जमानत याचिका पर साकेत कोर्ट ने इन कैमरा सुनवाई के बाद फैसला सुरक्षित रखा था. मामले की संवेदनशीलता को देखते हुए कोर्ट ने इन कैमरा सुनवाई करने का आदेश दिया था. शिकायतकर्ता की ओर से भी यह आग्रह किया गया था कि चूंकि यह मामला बेहद संवेदनशील है, इसलिए इसे बंद कमरे में सुना जाए.
सुनवाई के दौरान दिल्ली Police ने समीर मोदी की जमानत का कड़ा विरोध किया था. Police ने आशंका जताई थी कि आरोपी को जमानत देने से जांच प्रभावित हो सकती है. Police ने यह भी आशंका जताई कि आरोपी जमानत मिलने पर फरार हो सकता है. Police ने दलील दी कि समीर मोदी पहले भी विदेश जाने का प्रयास कर चुके हैं, इसलिए उन्हें जमानत न दी जाए.
जांच अधिकारी ने अदालत को बताया कि आरोपी के खिलाफ पर्याप्त साक्ष्य हैं, जिसमें व्हाट्सएप चैट और अन्य डिजिटल प्रूफ शामिल हैं.
वहीं, समीर मोदी के वकील, वरिष्ठ अधिवक्ता रमेश गुप्ता ने एलओसी को जल्दबाजी का बताया. उनका कहना है कि First Information Report के मात्र पांच दिनों में एलओसी जारी करना संदिग्ध है. वकील ने बताया कि आरोप झूठे हैं और यह एक वसूली की साजिश है.
बता दें कि दिल्ली Police ने समीर मोदी को 18 सितंबर को गिरफ्तार किया था. न्यू फ्रेंड्स कॉलोनी थाने की Police ने उन्हें उस समय हिरासत में लिया, जब वह विदेश से दिल्ली लौटे और एयरपोर्ट पर पहुंचे थे.
समीर मोदी पर आरोप है कि उन्होंने कई साल पहले एक महिला के साथ बलात्कार किया था. यह मामला काफी पुराना है, लेकिन लंबे समय तक चली जांच और कानूनी प्रक्रिया के बाद Police ने उन्हें गिरफ्तार किया.
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पीएसके
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