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राजस्थान में बैंकिंग सेवाएं ठप! आज 11 हजार कर्मचारी हड़ताल पर, बीमा-डाक-आयकर विभाग के कर्मचारी भी करेंगे समर्थन

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केन्द्र सरकार की नीतियों के विरोध समेत 17 मांगों को लेकर देशभर के बैंक कर्मचारी बुधवार को हड़ताल पर रहेंगे। प्रदेशभर में करीब 11 हजार बैंक कर्मचारी और अधिकारी काम से दूर रहेंगे। इससे आम लोगों को बैंकिंग सेवाओं में परेशानी का सामना करना पड़ सकता है। राजस्थान राज्य बैंक कर्मचारी संघ के महासचिव महेश मिश्रा ने बताया- इस राष्ट्रव्यापी बैंक हड़ताल में सार्वजनिक, निजी, विदेशी, सहकारी और ग्रामीण बैंकों के कर्मचारी और अधिकारी शामिल होंगे।

 यह हड़ताल केन्द्र सरकार की मजदूर विरोधी नीतियों और बैंकों के निजीकरण के खिलाफ है। पुरानी पेंशन योजना लागू करने, आउटसोर्सिंग पर रोक, पांच दिवसीय बैंकिंग व्यवस्था और कॉरपोरेट ऋणों की वसूली जैसे मुद्दों पर बैंक कर्मचारी एकजुट हो रहे हैं। कर्मचारी सुबह 10:30 बजे जयपुर में बैंक ऑफ इंडिया, सी-स्कीम शाखा के बाहर प्रदर्शन करेंगे। इसके बाद हसनपुरा स्थित श्रम आयुक्त कार्यालय पहुंचकर अन्य यूनियनों के साथ संयुक्त प्रदर्शन करेंगे। निजीकरण, संविदा भर्ती और आउटसोर्सिंग के खिलाफ मोर्चा

राजस्थान राज्य बैंक कर्मचारी संघ के सचिव और पीएनबी कर्मचारी संघ के अध्यक्ष टीसी झालानी ने कहा- यह हड़ताल सिर्फ बैंकिंग क्षेत्र तक सीमित नहीं है।बल्कि बीमा, डाक, आयकर, बीएसएनएल, कोयला, रक्षा, आंगनबाड़ी, आशा, मिड-डे मील, चिकित्सा प्रतिनिधि, खेत मजदूर और फैक्ट्री कर्मचारी समेत कई क्षेत्रों के कर्मचारी इसमें शामिल होंगे।उन्होंने बताया- इस हड़ताल के जरिए सरकारी संस्थाओं का निजीकरण और विनिवेश रोकने, सभी क्षेत्रों में पर्याप्त भर्ती करने, आउटसोर्सिंग और ठेका प्रथा बंद करने, कॉरपोरेट्स से एनपीए की वसूली और बीमा प्रीमियम पर जीएसटी हटाने की मांग की जा रही है। न्यूनतम वेतन 26,000 रुपए प्रतिमाह करने और समान काम के लिए समान वेतन लागू करने की भी मांग की जा रही है।

डाक-दूरसंचार विभाग में भी काम प्रभावित रहेगा

बैंक और बीमा क्षेत्र के अलावा केंद्र और राज्य सरकार के कार्यालयों, डाकघर, दूरसंचार, स्वास्थ्य और शिक्षा से जुड़े विभागों में भी काम प्रभावित रहेगा। यूनियनों ने चेतावनी दी है कि यदि सरकार इन मुद्दों की अनदेखी करती रही तो आंदोलन और तेज किया जाएगा।

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