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'भारत-त्रिनिदाद एवं टोबैगो द्विपक्षीय संबंधों के नये युग की शुरुआत'

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पोर्ट ऑफ स्पेन, 05 जुलाई (Udaipur Kiran) भारत ने कैरेबियाई द्वीपीय देश त्रिनिदाद एवं टोबैगो को डिजिटल शासन की सार्वजनिक बुनियादी अवसंरचना को सशक्त बनाने, कृषि एवं खाद्य सुरक्षा, शिक्षा, फार्मास्यूटिकल्स एवं आयुर्वेद, क्षमता निर्माण तथा सांस्कृतिक जुड़ाव के कार्यक्रमों को सहायता देने की वचनबद्धता व्यक्त की है जबकि त्रिनिदाद एवं टोबैगो ने आतंकवाद के हर रूप के प्रति कड़ा विरोध जताया और बहुपक्षीय मंचों पर भारत के साथ घनिष्ठ सहयोग की प्रतिबद्धता जतायी है।

भारतीय प्रवासियों के देश में आगमन की 180वीं वर्षगांठ के अवसर पर प्रधानमंत्री कमला प्रसाद बिसेसर के निमंत्रण पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की त्रिनिदाद एवं टोबैगो की दो दिवसीय यात्रा के संपन्न होने के साथ दोनों देशों ने संयुक्त वक्तव्य जारी किया जिसमें कहा गया, भारत के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की 3 से 4 जुलाई तक त्रिनिदाद एवं टोबैगो की अत्यधिक सफल आधिकारिक यात्रा का परिणाम दोनों देशों के बीच उन्नत द्विपक्षीय संबंधों के एक नए युग का मार्ग प्रशस्त करता है और एक मजबूत, समावेशी और दूरदर्शी भारत-त्रिनिदाद एवं टोबैगो साझीदारी के लिए उनकी साझा प्रतिबद्धता की पुष्टि करता है।

वक्तव्य में कहा गया है कि यह ऐतिहासिक यात्रा 26 वर्षों में किसी भारतीय प्रधानमंत्री की पहली द्विपक्षीय यात्रा थी, जिसका गहरा महत्व था, क्योंकि यह 1845 में त्रिनिदाद एवं टोबैगो में भारतीय प्रवासियों के आगमन की 180वीं वर्षगांठ के साथ हुई थी। इसने गहरे जड़ वाले सभ्यतागत संबंधों, लोगों के बीच जीवंत संबंधों और साझा लोकतांत्रिक मूल्यों की पुष्टि की जो दोनों देशों के बीच लंबे समय से चली आ रही दोस्ती का आधार हैं।

प्रधानमंत्री मोदी ने प्रधानमंत्री कमला प्रसाद बिससेर को उनकी हाल ही में मिली चुनावी जीत पर बधाई दी तथा भारत और त्रिनिदाद एवं टोबैगो के बीच द्विपक्षीय संबंधों को मजबूत करने में उनके उत्कृष्ट योगदान की सराहना की।

वक्तव्य में कहा गया कि भारत के भीतर और वैश्विक मंच पर प्रधानमंत्री मोदी के असाधारण नेतृत्व की मान्यता में, उन्हें ऑर्डर ऑफ द रिपब्लिक ऑफ त्रिनिदाद और टोबैगो से सम्मानित किया गया- जो देश का सर्वोच्च राष्ट्रीय सम्मान है।

दोनों प्रधानमंत्रियों ने आपसी हित के द्विपक्षीय, क्षेत्रीय और वैश्विक मुद्दों की एक विस्तृत श्रृंखला पर व्यापक चर्चा की। दोनों नेताओं ने संबंधों की गहराई और विस्तार पर संतोष व्यक्त किया और स्वास्थ्य, आईसीटी, संस्कृति, खेल, व्यापार, आर्थिक विकास, कृषि, न्याय, कानूनी मामलों, शिक्षा और कौशल विकास जैसे क्षेत्रों में एक व्यापक-आधारित, समावेशी और दूरदर्शी साझेदारी बनाने के अपने संकल्प की पुष्टि की। दोनों नेताओं ने आतंकवाद द्वारा शांति और सुरक्षा के लिए उत्पन्न सामान्य खतरे को स्वीकार किया। उन्होंने आतंकवाद की कड़ी निंदा और उसके प्रति दृढ़ विरोध को दोहराया।

उन्होंने घोषणा की कि सीमा पार आतंकवाद सहित आतंकवाद का कोई औचित्य नहीं हो सकता है। उन्होंने फार्मास्यूटिकल्स, विकास सहयोग, शिक्षाविदों, सांस्कृतिक आदान-प्रदान, राजनयिक प्रशिक्षण और खेलों सहित प्रमुख क्षेत्रों में महत्वपूर्ण समझौतों और समझौता ज्ञापन (एमओयू) पर हस्ताक्षर करने का स्वागत किया। दोनों नेताओं ने नवंबर 2024 में आयोजित दूसरे भारत-कैरिकॉम शिखर सम्मेलन के परिणामों को याद किया और उसमें घोषित पहलों के कार्यान्वयन में तेजी लाने के लिए प्रतिबद्धता जताई।

वक्तव्य के अनुसार दोनों देशों ने डिजिटल क्षेत्र में सहयोग बढ़ाने में गहरी रुचि व्यक्त की। प्रधानमंत्री मोदी ने भारत की प्रमुख डिजिटल भुगतान प्रणाली यूनिफाइड पेमेंट्स इंटरफेस (यूपीआई) को अपनाने वाला पहला कैरेबियाई देश बनने पर त्रिनिदाद एवं टोबैगो को बधाई दी। वे डिजिलॉकर, ई-साइन और गवर्नमेंट ई-मार्केटप्लेस (जीईएम) सहित इंडिया स्टैक समाधानों के कार्यान्वयन में और सहयोग का पता लगाने पर सहमत हुए। त्रिनिदाद एवं टोबैगो ने परिसंपत्ति पंजीकरण प्रणाली के डिजिटलीकरण और उन्नयन में भारत से सहयोग का अनुरोध किया। नेताओं ने इस बात को भी रेखांकित किया कि दोनों देश डिजिटल गवर्नेंस और सार्वजनिक सेवा वितरण समावेशी विकास, नवाचार और राष्ट्रीय प्रतिस्पर्धात्मकता को प्रभावी एवं अधिक सक्षम बनाने के लिए कार्य कर सकते हैं।

वक्तव्य में कहा गया कि प्रधानमंत्री मोदी ने शिक्षा के डिजिटलीकरण के प्रधानमंत्री कमला प्रसाद बिसेसर के महत्वाकांक्षी दृष्टिकोण की सराहना की और त्रिनिदाद एवं टोबैगो के प्रमुख शैक्षिक कार्यक्रम का समर्थन करने के लिए 2000 लैपटॉप के उपहार की घोषणा की। प्रधानमंत्री मोदी ने त्रिनिदाद एवं टोबैगो के छात्रों को भारत सरकार द्वारा प्रस्तावित विभिन्न छात्रवृत्ति कार्यक्रमों के तहत भारत में उच्च शिक्षा के अवसरों का पता लगाने के लिए प्रोत्साहित किया।

वक्तव्य के अनुसार नेताओं ने कृषि और खाद्य सुरक्षा को एक अन्य प्राथमिकता वाले क्षेत्र के रूप में पहचाना। त्रिनिदाद एवं टोबैगो के राष्ट्रीय कृषि विपणन और विकास निगम (नामदेवको) को खाद्य प्रसंस्करण और भंडारण के लिए 10 लाख डॉलर मूल्य की कृषि-मशीनरी के भारत के उपहार की सराहना की गई। प्रधानमंत्री मोदी ने एक प्रतीकात्मक समारोह के दौरान ‘नामदेवको’ को मशीनरी का पहला बैच सौंपा। प्रधानमंत्री मोदी ने प्राकृतिक खेती, समुद्री शैवाल आधारित उर्वरकों और बाजरा की खेती के क्षेत्रों में भी भारत की सहायता की पेशकश की।

स्वास्थ्य सेवा के बारे में प्रधानमंत्री मोदी ने भारतीय फार्माकोपिया को मान्यता देने के लिए त्रिनिदाद और टोबैगो सरकार की सराहना की, जो दवा क्षेत्र में घनिष्ठ सहयोग सुनिश्चित करेगा और त्रिनिदाद एवं टोबैगो के लोगों के लिए भारत से गुणवत्तापूर्ण और किफायती जेनेरिक दवाओं तक पहुंच में सुधार करेगा और साथ ही भारत में चिकित्सा उपचार का प्रावधान करेगा। उन्होंने यह भी घोषणा की कि आने वाले महीनों में त्रिनिदाद एवं टोबैगो में 800 व्यक्तियों के लिए कृत्रिम अंगों की फिटमेंट शिविर का आयोजन किया जाएगा। प्रधानमंत्री कमला प्रसाद बिसेसर ने स्वास्थ्य सेवा सहायता के लिए प्रधानमंत्री मोदी को धन्यवाद दिया जो स्वास्थ्य सेवा सहयोग को दवाओं और उपकरणों से परे ले जाएगी। उन्होंने बेहतर गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सेवा प्रदान करने में सहायता के लिए भारत द्वारा 20 हेमोडायलिसिस इकाइयों और दो समुद्री एम्बुलेंसों के अनुदान के लिए त्रिनिदाद एवं टोबैगो की ओर से आभार व्यक्त किया।

वक्तव्य में कहा गया कि त्रिनिदाद और टोबैगो ने त्वरित प्रभाव परियोजनाओं पर एक समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर का स्वागत करते हुए विकास सहयोग के मूल्य को रेखांकित किया, जो भारत की सहायता से त्रिनिदाद एवं टोबैगो में सामुदायिक विकास परियोजनाओं को समय पर और प्रभावी तरीके से लागू करने में सक्षम बनाएगा। प्रधानमंत्री कमला प्रसाद बिसेसर ने कोविड-19 महामारी के कठिन समय में बहुमूल्य मानव जीवन को बचाने में भारत की अग्रणी भूमिका की सराहना की। उन्होंने त्रिनिदाद एवं टोबैगो को कोविड टीकों और चिकित्सा उपकरणों की भारत की त्वरित प्रतिक्रिया और मूल्यवान आपूर्ति की सराहना की। उन्होंने विशेष रूप से मोबाइल हेल्थकेयर रोबोट, टेलीमेडिसिन किट और हैंड हाइजीन स्टेशनों की आपूर्ति के साथ कोविड-19 परियोजना में 10 लाख अमेरिकी डॉलर के एचएएलटी (उच्च और निम्न प्रौद्योगिकी) के तहत भारत के सहयोग की सराहना की।

प्रधानमंत्री मोदी ने त्रिनिदाद और टोबैगो के आपदा प्रतिरोधी अवसंरचना गठबंधन (सीडीआरआई) और वैश्विक जैव ईंधन गठबंधन में शामिल होने के फैसले का स्वागत किया, जो जलवायु कार्रवाई, लचीलापन निर्माण और सतत विकास के प्रति उनकी साझा प्रतिबद्धता को दर्शाता है। दोनों नेताओं ने आपदा जोखिम में कमी के लिए भारत द्वारा विकसित पूर्व चेतावनी प्रणालियों में और अधिक सहयोग का पता लगाने पर सहमति व्यक्त की।

त्रिनिदाद और टोबैगो सरकार ने विदेश और कैरिकॉम मामलों के मंत्रालय के मुख्यालय के लिए रूफटॉप फोटोवोल्टिक (पीवी) प्रणाली प्रदान करने के लिए भारत के अनुदान प्रस्ताव की भी सराहना की। प्रधानमंत्री कमला प्रसाद बिसेसर ने प्रधानमंत्री मोदी की दूरदर्शी ‘मिशन लाइफ’पहल की सराहना की, जो सचेत उपभोग और टिकाऊ जीवन शैली को बढ़ावा देती है। उन्होंने वैश्विक नागरिकों को जलवायु के प्रति जागरूक व्यवहार की ओर जुटाने में इसकी प्रासंगिकता को स्वीकार किया।

त्रिनिदाद और टोबैगो के साथ भारत की साझीदारी के एक महत्वपूर्ण स्तंभ के रूप में क्षमता निर्माण को मान्यता दी गई थी। त्रिनिदाद और टोबैगो पक्ष ने अपने युवाओं के क्षमता निर्माण के लिए विभिन्न क्षेत्रों में भारत द्वारा सालाना 85 आईटीईसी स्लॉट की पेशकश की सराहना की। भारतीय पक्ष ने अपने अधिकारियों के बड़े पैमाने पर प्रशिक्षण के लिए विशेषज्ञों और प्रशिक्षकों को त्रिनिदाद और टोबैगो भेजने की इच्छा व्यक्त की।

प्रधानमंत्री मोदी ने त्रिनिदाद एवं टोबैगो के अधिकारियों और कर्मियों की क्षमताओं के निर्माण में त्रिनिदाद एवं टोबैगो का समर्थन करने की इच्छा व्यक्त की, जिसमें उन्हें प्रशिक्षण के लिए भारत भेजना और साथ ही भारत से प्रशिक्षकों और विशेषज्ञों को त्रिनिदाद एवं टोबैगो भेजना शामिल है। दोनों नेताओं ने दोनों देशों के व्यापारिक सहायता संगठनों के बीच प्रत्यक्ष चैनलों को प्रोत्साहित करके अधिक द्विपक्षीय व्यापार और निवेश आदान-प्रदान की आवश्यकता को रेखांकित किया। दोनों नेताओं ने देशों के बीच मजबूत खेल संबंधों, विशेष रूप से क्रिकेट के प्रति साझा जुनून की बात भी रेखांकित की। उन्होंने प्रशिक्षण, प्रतिभा आदान-प्रदान, बुनियादी ढांचे के विकास और संयुक्त क्षमता निर्माण को बढ़ावा देने के लिए खेल सहयोग पर एक समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए जाने का स्वागत किया। प्रधानमंत्री मोदी ने भारत में त्रिनिदाद एवं टोबैगो की महत्वाकांक्षी युवा महिला क्रिकेटरों को प्रशिक्षित करने के अपने प्रस्ताव को भी दोहराया।

वक्तव्य के अनुसार सांस्कृतिक रूप से महत्वपूर्ण संकेत देते हुए, प्रधानमंत्री मोदी ने भारत में त्रिनिदाद और टोबैगो के पंडितों के एक समूह के लिए प्रशिक्षण की घोषणा की। ये पंडित भारत में ‘गीता महोत्सव’ में भी भाग लेंगे। प्रधानमंत्री कमला प्रसाद बिसेसर ने इस भाव के लिए अपनी सराहना व्यक्त की और भारत में समारोह के साथ त्रिनिदाद एवं टोबैगो में संयुक्त रूप से गीता महोत्सव मनाने के भारतीय प्रस्ताव का उत्साहपूर्वक समर्थन किया।

सांस्कृतिक सहयोग पर, दोनों नेताओं ने द्विपक्षीय ‘सांस्कृतिक आदान-प्रदान कार्यक्रम’ की प्रगतिशील भूमिका का उल्लेख किया जिसके माध्यम से 1997 में महात्मा गांधी सांस्कृतिक सहयोग संस्थान की स्थापना की गई थी। इस कार्यक्रम को 2025-28 की अवधि के लिए नवीनीकृत करने के लिए एक समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए गए। नए समझौता ज्ञापन के तहत त्रिनिदाद एवं टोबैगो दोनों देशों के साथ सांस्कृतिक संबंधों को बढ़ाने के लिए पर्क्यूशन (स्टील पैन) और सांस्कृतिक अभिव्यक्तियों के अन्य रूपों पर कलाकारों को भारत भेजेंगे। प्रधानमंत्री मोदी ने पूरे देश में योग और हिंदी भाषा को बढ़ावा देने के लिए त्रिनिदाद एवं टोबैगो सरकार को धन्यवाद दिया। उन्होंने भारत से योग प्रशिक्षकों को भेजने और त्रिनिदाद एवं टोबैगो के राष्ट्रीय स्कूल पाठ्यक्रम में योग को शामिल करने का समर्थन करने की पेशकश की।

वक्तव्य में कहा गया कि दोनों प्रधानमंत्रियों ने याद दिलाया कि इस साल 30 मई को 1845 में त्रिनिदाद एवं टोबैगो में पहले भारतीय प्रवासियों के आगमन की 180वीं वर्षगांठ थी। उन्होंने सांस्कृतिक पर्यटन के लिए एक स्थान के रूप में नेल्सन द्वीप के महत्व और राष्ट्रीय अभिलेखागार में भारतीय आगमन और अन्य अभिलेखों के डिजिटलीकरण की आवश्यकता को पहचाना। प्रधानमंत्री मोदी ने त्रिनिदाद एवं टोबैगो के प्रवासी भारतीयों की छठी पीढ़ी तक प्रवासी भारतीय नागरिकता (ओसीआई) कार्ड जारी करने के भारत सरकार के निर्णय की भी घोषणा की।

वक्तव्य में कहा गया कि दोनों प्रधानमंत्रियों ने वेस्ट इंडीज विश्वविद्यालय में हिंदी में अकादमिक अध्यक्षों के पुनरुद्धार और भारतीय अध्ययन का स्वागत किया, जो भारत और त्रिनिदाद और टोबैगो के बीच शैक्षणिक और सांस्कृतिक संबंधों को गहरा करने में मदद करेगा और आयुर्वेद की प्राचीन बुद्धि और विरासत के प्रसार को बढ़ावा देगा।

दोनों नेताओं ने भारत-त्रिनिदाद एवं टोबैगो संसदीय मैत्री समूह को पुनर्जीवित करने तथा भारत में त्रिनिदाद एवं टोबैगो सांसदों का प्रशिक्षण और संसदीय प्रतिनिधिमंडलों द्वारा एक-दूसरे देशों में नियमित रूप से यात्राओं की आवश्यकता को रेखांकित किया। दोनों पक्षों ने क्षेत्रीय और अंतरराष्ट्रीय विकास पर भी विचारों का आदान-प्रदान किया और शांति, जलवायु न्याय, समावेशी विकास और वैश्विक दक्षिण की आवाज को बढ़ाने के लिए अपनी साझा प्रतिबद्धता को दोहराया। उन्होंने बहुपक्षीय मंचों पर दिए गए मूल्यवान पारस्परिक समर्थन की सराहना की।

वक्तव्य में कहा गया कि नेताओं ने वर्तमान वैश्विक वास्तविकताओं को बेहतर ढंग से प्रतिबिंबित करने के लिए संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के विस्तार सहित संयुक्त राष्ट्र में व्यापक सुधारों की आवश्यकता की पुष्टि की। बढ़ते भू-राजनीतिक तनावों और वैश्विक संघर्षों को स्वीकार करते हुए, दोनों नेताओं ने बातचीत और कूटनीति को आगे का रास्ता बनाने का आह्वान किया। त्रिनिदाद एवं टोबैगो ने विस्तारित संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की स्थायी सदस्यता के लिए भारत को अपने पूर्ण समर्थन की पुष्टि की। यह भी सहमति हुई कि भारत 2027-28 अवधि के लिए संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में अस्थायी सीट के लिए त्रिनिदाद एवं टोबैगो की उम्मीदवारी का समर्थन करेगा जबकि त्रिनिदाद एवं टोबैगो इस अवधि के लिए 2028-29 भारत की उम्मीदवारी का समर्थन करेंगे।

प्रधानमंत्री मोदी ने त्रिनिदाद एवं टोबैगो की सरकार और जनता की उन्हें दिए गए असाधारण आतिथ्य के लिए हार्दिक प्रशंसा व्यक्त की। उन्होंने प्रधानमंत्री कमला प्रसाद बिसेसर को पारस्परिक रूप से सुविधाजनक समय पर भारत आने का निमंत्रण दिया। प्रधानमंत्री कमला प्रसाद बिसेसर ने भी प्रधानमंत्री मोदी को पारस्परिक रूप से सुविधाजनक समय पर फिर से त्रिनिदाद एवं टोबैगो की यात्रा करने के लिए आमंत्रित किया।

(Udaipur Kiran) / सचिन बुधौलिया

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(Udaipur Kiran) / वीरेन्द्र सिंह

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